तो आज के इस लेख मे हम आत्मविश्वास की कमी के कारण, आत्मविश्वास कि कमी से हमारे जीवन पर पड़ने वाले प्रभाव व आत्मविश्वास कैसे बढ़ाये||How to improve your self-confidence के बारे मे पढ़ेंगे|
आत्मविश्वास की कमी के कारण:-
तो सबसे पहले हम हमारे अन्दर आत्मविश्वास की कमी के उत्पन्न होने के कारण के बारे मे पढ़ेगे-
(1) आत्मविश्वास मे कमी का सबसे बड़ा कारण हमारी शारीरिक -संरचना है प्रकृति ने हम सबको अलग अलग बनाया हैं कोई काला हैं तो कोई गोरा हैं, कोई लम्बा हैं तो कोई छोटा हैं बस इसी वजह से समाज मे भेद-भाव होता हैं तथा लोग छोटे व काले लोगो को उनके रंग-रूप आदि से सम्बोधित करते है जिससे ये लोग हीनभावना के शिकार हो जाते हैं और इनका आत्मविश्वास डगमगा जाता हैं!
(2) हमारे अन्दर आत्मविश्वास कि कमी का एक कारण ये हैं कि हम दूसरे लोगो से अपनी तुलना करने लगते हैं तथा उन्हें अपने से बेहतर मान लेते हैं और खुद को उनसे कमतर जिससे हमारा आत्मविश्वास गिर जाता हैं |
(3) कोई बडी गलती हो जाना, अक्सर हम कुछ करने कि कोशिश करते है और उसमे कोई बडी गलती कर बैठते है जिससे वो काम पुरा नही हो पाता और हमारा आत्मविश्वास
गिर जाता हैं |
(4) अक्सर किसी ना किसी बच्चे को समाज व परिवार मे उपेक्षित किया जाता है जिसका उसके बाल-मन पे बहुत गहरा प्रभाव पड़ता हैं और वो अपना आत्मविश्वास खो देता हैं|
आत्मविश्वास की कमी का हमारे जीवन पर प्रभाव:-
(1) आत्मविश्वास कि कमी के कारण हमे अपने आप पर भरोसा नही रह जाता, इसलिए हम कोई काम अच्छे से कर नही पाते और सफ़लता से वंचित रह जाते हैं तथा योग्य होते हुए भी हमे अयोग्य समझ लिया जाता हैं |
(2) आत्मविश्वास की कमी के कारण हम अपने दोस्तो, पडोसियो तथा साथ काम करने वालो से बात नही कर पाते जिससे हमे समाज में घमंडी आदि कहकर उपेक्षित किया जाता हैं तथा हमे वो सम्मान नही मिलता जिसके हम हक्दार हैं|
आत्मविश्वास को बढ़ाने/improve करने के तरीके:-
(1) खुद से प्यार करे और दूसरे लोगो कि नकारात्मक बातो का परवाह ना करे अपनी ज़िन्दगी जिये खुश रहे ऐसे लोगो के मित्र बनाये तथा उनके साथ रहे जो दूसरों कि बुराई इत्यादि ना करते हो और जिनके साथ रह्कर आप कुछ अच्छा सिख सकते हो बेकार के और चुगलखोर लोगो से दुरी बनाके रखे!
(2) अपने आप पे perfection का टैग ना थोपे गलतियां सबसे होती हैं इससे परेशान ना होकर फ़िर से दोबारा उस काम मे जूट जाये सफ़लता अवश्य मिलेगी वो एक कहावत हैं ना - "करत-करत अभ्यास के जड़मति होत सुजान, रसरी आवत जात ते सील पे पड़त निशान|"
(3) अपनी तुलना कभी दुसरो से ना करे ना हि किसी से जलन कि भावना रखे याद रखे हमारा रंग-रूप लम्बाई शरीर कि बनावट सब ऊपर वाले कि देन हैं इसलिए इन सब चीज़ो में अपनी तुलना किसी से ना करे और कोई ऐसा कर रहा हैं तो वहा से तुरन्त निकल जाये |
(4) लोगो कि नकारात्मक बातों को दिल पर ना ले याद रखे जब आप कोई अच्छा काम करेंगे तो दुनिया आपके बारे में उल्टा-सिधा कहेगी पर आपको ये सब अनसुना करके अपने काम मे डटे रहना है और उनकी बातों का जवाब बातों से देने कि बजाय अपनी सफ़लता से दे|
(5) अपने मन मे अपने प्रति कभी भी हीन भावना ना आने दे याद रखे आप जैसे भी है best है इसी सोच के साथ आगे बढ़े|
(6) योग- प्रणायाम आदि करे तथा टहलने जाये इससे मन मे नकारात्मक विचार उत्पन्न नही होंगे जिससे आप आत्मविश्वास से भरे रहेंगे|
(7) अपने कपड़ों के पहनाव आदि पे भी ध्यान दे ऐसे कपड़े कभी मत पहने जो आप पे अच्छे ना लगे तथा साथ हि साथ साफ़ और इस्त्री किये हुए कपड़े हि पहने जिससे और लोग आपकी dressing-sense कि तरफ़ आकर्षित होते है तथा आपकी तारीफ़ करते हैं जिससे आपका आत्मविश्वास बना रहता हैं |
(8) इन सबके बाद भी जब कभी असफ़ल होने पर आपका आत्मविश्वास डगमगाने लगे तो अतीत की उपलब्धियो को याद करे और स्वयं को नई उपलब्धिया हासिल करने के लिए प्रेरित करे |
पिछले दिनो मे मिली सफ़लता की यादें आपको पुनः सफ़ल होने के लिए प्रेरित करेगी तथा आप अपना खोया आत्मविश्वास फ़िरसे पा लेंगे |
दोस्तो तो आज के लेख मे हमने आत्मविश्वास कि कमी के कारण/ उसका हमारी ज़िन्दगी मे पड़ने वाले प्रभाव व आत्मविश्वास को बढ़ाने/improve करने के तरीको के बारे मे जाना, आशा करता हु कि आपको मेरा ये लेख अच्छा लगा होगा आप अपने विचार comment box में लिखकर अवश्य बताये तथा साथ हि साथ अगर आपके कोई सुझाब हो तो उसे भी बताये मै उसपे अमल करूंगा |🙏
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जवाब देंहटाएंइस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.
हटाएंgoosebumps
जवाब देंहटाएंmazaa aa gaya
Thank you brother 😇🙏❤
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